देश में मौतें 90 हजार पार, लगातार तीसरे दिन 10 लाख से कम टेस्ट

देश में काेरोना मरीज 57 लाख के करीब पहुंच गए हैं। बुधवार को 57,748 और नए मरीजों के साथ संक्रमितों का आंकड़ा 56,87,940 हो गया। 24 घंटे में 981 मौतें भी हुई। हालांकि 16 दिन बाद पहला मौका है, जब किसी एक दिन में मौतें 1000 से कम हुई। इन्हें मिलाकर अब तक 90,892 मौतें हो चुकी है। यह दुनिया में कोरोना से हुई मौतों का करीब 9.4% हैं।

राहत की बात यह है कि 24 घंटे में 70,209 लोगों ठीक भी हुए। इसी के साथ कोरोना को हराने वालों का आंकड़ा 46,38,688 और रिकवरी रेट बढ़कर 81.55% हो गया। हालांकि परेशानी इस बात की भी है कि एक ओर सरकार इस बात पर जोर दे रही है कि ज्यादा से ज्यादा टेस्ट किए जाएं, वहीं देश में लगातार तीसरा दिन है, जब टेस्ट 10 लाख से कम रहे। चिकित्सा अनुसंधान परिषद यानी आईसीएमआर के अनुसार 24 घंटे में 9,53,683 टेस्ट ही हुए। इन्हें मिलाकर अब तक 6.62 करोड़ टेस्ट हो चुके हैं।
हरियाणा में काॅलेज-यूनिवर्सिटी खोले जाने की मंजूरी दे दी गई है। यह चरणबद्ध तरीके से शुरू की जाएंगी। इसके ट्रायल की शुरुआत 26 से होगी।
स्वास्थ्य राज्य मंत्री अश्विनी चौबे ने बुधवार को लोकसभा में बताया कि भारत अभी प्रति 10 लाख लोगों पर 875 लोगों का टेस्ट कर रहा है। यह डब्ल्यूएचओ द्वारा अनुशंसित आंकड़े से छह गुना से अधिक है।

राजधानी में 3714 नए मामले, 36 मौते
दिल्ली में कोरोना के नए मामले में गिरावट आ रही है। बुधवार को दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य विभाग की तरफ से जारी हेल्थ बुलेटिन के अनुसार पिछले 24 घंटे में 3714 नए मामले आए और 36लोगों की कोरोना के कारण मौत हुई है। वहीं, 4465 मरीज ठीक हुए है। रिपोर्ट के अनुसार अब तक दिल्ली में 2 लाख 56 हजार 789 लोग संक्रमित हो चुके है। इनमें से 2 लाख 20 हजार 866 लोग ठीक हो चुके है।

अब तक 5087 लोगों की कोरोना के कारण मौत हुई है। अभी दिल्ली में 30 हजार 836 एक्टिव मरीज है। इनमें से 17 हजार 834 मरीज होम आईसोलेशन में है। दिल्ली में एक दिन में 59 हजार 580 लोगों के कोरोना सैंपल की जांच की गई। इसमें 10 हजार 359 लोगों की आरटीपीसीआर और 49 हजार 221 लोगों की रैपिड एंटीजन टेस्ट से जांच की गई।

अब तक दिल्ली में 26 लाख 97 हजार 333 लोगों की कोरोना सैंपल की जांच की जा चुकी है। दिल्ली में एक्टिव कंटेनमेंट जोन की संख्या 1987 हो गई है।

नाक के जरिए दी जाने वाली वैक्सीन बनाने के लिए भारत बायोटेक ने किया अमेरिकी यूनिवर्सिटी से करार

हैदराबाद की कंपनी भारत बायोटेक नाक के जरिए ली जाने वाली एक विशेष वैक्सीन विकसित कर रही है। इसके लिए कंपनी ने अमेरिका के सेंट लुईस में स्थित वाशिंगटन यूनिवर्सिटी के स्कूल ऑफ मेडिसिन के साथ समझौता किया है। इस वैक्सीन को कोरोफ्लू नाम दिया गया है। करार के मुताबिक भारत बायोटेक के पास अमेरिका, जापान और यूरोप को छोड़कर सभी बाजारों में वैक्सीन वितरित करने का अधिकार है।

इस वैक्सीन के पहले चरण का ट्रायल सेंट लुईस यूनिवर्सिटी की ‘वैक्सीन एंड ट्रीटमेंट इवैल्यूएशन यूनिट’ में होगा, वहीं भारत बायोटेक आवश्यक विनियामक अनुमोदन प्राप्त करने के बाद, भारत में क्लीनिकल परीक्षणों काे आगे बढ़ाएगा और हैदराबाद के जीनोम वैली में स्थित जीएमपी सुविधा में वैक्सीन का बड़े पैमाने पर निर्माण करेगा। इस इंट्रानेजल वैक्सीन ने चूहों पर अध्ययन में सुरक्षा के अभूतपूर्व स्तर को दिखाया है।

भारत बायोटेक के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक कृष्णा एला ने कहा, “हमें उम्मीद है कि हम इस वैक्सीन को 1 अरब डोज तक पहुंचा देंगे। यह शरीर में डालने में सरल तो है ही साथ में सीरिंज जैसे चिकित्सा सामग्रियों के उपयोग को कम करने के लिए भी सरल होगा।”उन्होंने कहा कि एक प्रभावी नेजल डोज न केवल कोरोना से बचाएगा, बल्कि एंटीबॉडी बनाकर दूसरे रोगों से भी बचाएगा।



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Deaths cross 90 thousand in country, less than 10 lakh tests for third consecutive day


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